माॅं शारदे के चित्र पर माल्यार्पण एवं दीप प्रज्ज्वलित कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया।
इस अवसर पर शिक्षा, साहित्य एवं चिकित्सा के क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान के लिए शिक्षाविद् चित्रा जौहरी, कवयित्री किरन प्रजापति ‘दिलवारी’ तथा डॉ रेनू श्रीवास्तव को महिला जागृति सम्मान- 2025 प्रदान किया गया सम्मान स्वरूप पटका, प्रशस्ति पत्र एवं स्मृति चिन्ह संस्था के महासचिव उपमेंद्र सक्सेना एडवोकेट एवं संयोजक अतुल सक्सेना ने प्रदान किया।
कार्यक्रम में कवियों ने अपने काव्य पाठ से नारी -महिमा का गुणगान करते हुए महिला सशक्तिकरण पर जोर दिया।
गीतकार उपमेंद्र सक्सेना एडवोकेट ने अपने गीत के माध्यम से कहा कि-
आज जहरीला हुआ अपने यहाॅं का ताल
मछलियाॅं बेचैन होकर सो गईं।
वरिष्ठ कवि दीपक मुखर्जी ‘दीप’ ने कहा कि-
इस ब्रह्मांड की सबसे सुंदर महिला कौन है वह माॅं है
माॅं के ऑंचल में संपूर्ण संसार है।
वरिष्ठ हास्य व्यंग्यकार पी.के. दीवाना ने अपनी रचना इस प्रकार प्रस्तुत की-
आज जो मेरे घर का ज़र्रा-ज़र्रा खिला है,
उसके पीछे मेरे घर की एक महिला है।
मेरी सेहत को देखकर अंदाजा मत लगाना,
टूटे दाँत, सूजा चेहरा भी उसी का ही सिला है।
इस अवसर पर संस्था के सचिव उपमेंद्र सक्सेना एडवोकेट, संयोजक अतुल सक्सेना, पी.के. दीवाना, दीपक मुखर्जी ‘दीप’, मनोज दीक्षित टिंकू,राजकुमार अग्रवाल, रीतेश साहनी एवं के. के. जौहरी आदि उपस्थित रहे।
संचालन किरन प्रजापति ‘दिलवारी’ ने किया।
उपमेंद्र सक्सेना एडवोकेट
सचिव
